Israel Iran Conflict : तेहरान में मिसाइल हमलों से दहशत में कश्मीरी छात्र, भारत सरकार से मदद की गुहार!
Kashmiri Students in Iran : तेहरान में मिसाइल हमलों से कश्मीरी छात्र दहशत में हैं. हॉस्टलों के पास धमाकों और आग की घटनाओं से वे मानसिक तनाव में हैं. करीब 1,000 छात्रों ने भारत सरकार से तत्काल निकासी की मांग की है. परिजन भी चिंतित हैं. फारूक अब्दुल्ला ने छात्रों की सुरक्षा सुनिश्चित करने की अपील की है.
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Jammu and Kashmir : ईरान की राजधानी तेहरान में हुए इस्राइली मिसाइल हमलों के बाद वहां पढ़ाई कर रहे कश्मीरी छात्र डरे और सहमे हुए हैं. धमाकों की आवाजें, आग और धुएं के मंजर ने उनकी रातों की नींद छीन ली है. मेडिकल की पढ़ाई के लिए ईरान गए करीब 1,000 कश्मीरी छात्रों ने भारत सरकार से जल्द निकासी की मांग की है.
तेहरान के अमीराबाद इलाके में रहने वाली मेडिकल छात्रा अरीब फातिमा ने बताया कि गुरुवार देर रात 3:20 बजे उनके हॉस्टल के पास चंदरान हाईवे पर एक मिसाइल गिरी. जोरदार धमाके के बाद छात्राएं डर के मारे डोम से बाहर निकल आईं. उन्होंने कहा कि हम खिड़की से बाहर नहीं देख सके, लेकिन आग और धुएं का गुबार साफ दिख रहा था.
पांचवीं मंजिल से भागीं छात्राएं, रोते नजर आए कई छात्र
अरीब फातिमा पांचवीं मंजिल पर रहती हैं। उन्हें सुरक्षित महसूस नहीं हुआ, इसलिए वह बाहर निकल आईं. डोम के बाहर और भी छात्राएं थीं, जो रो रही थीं. सुबह एक और मिसाइल गिरने से डर और बढ़ गया. अरीब ने बताया कि उन्होंने भारतीय दूतावास को सूचना दी, लेकिन फिलहाल सिर्फ यह कहा गया कि डोम में ही रहें और इंस्टाग्राम पेज से निर्देश लें. उन्होंने भारत सरकार से अपील की कि छात्रों को जल्द से जल्द सुरक्षित भारत वापस लाया जाए.
परिजनों की चिंता, छात्र सदमे में
श्रीनगर की सहरीन जीलानी तेहरान मेडिकल कॉलेज में अंतिम वर्ष की छात्रा हैं. उनके भाई बदरान जीलानी ने बताया कि सुबह उनकी बहन ने रोते हुए फोन किया और कहा कि मुझे किसी भी तरह घर बुला लो. वह बहुत डरी हुई हैं और दूतावास से गाइडलाइन का इंतजार कर रही हैं. बदरान ने प्रधानमंत्री से अपील करते हुए कहा कि हमारे बच्चे वहां मौत के साए में हैं, सरकार तुरंत कदम उठाए.
एक अन्य छात्रा ताबिया जहरा से भी संपर्क किया गया, लेकिन वह इतनी घबराई हुई थीं कि ठीक से बात भी नहीं कर सकीं.
सैन्य ठिकानों के पास हैं कॉलेज, खतरा ज्यादा
कश्मीर छात्र संघ (JKSA) ने बताया कि ईरान में कई मेडिकल कॉलेज सैन्य ठिकानों के पास हैं, जिससे खतरा और बढ़ गया है. छात्रों को रात से हमलों और सायरनों की आवाजें सोने नहीं दे रही हैं. सभी छात्र खुद को असहाय महसूस कर रहे हैं, और उनके माता-पिता भारत में परेशान हैं.
फारूक अब्दुल्ला ने उठाई आवाज
नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष डॉ. फारूक अब्दुल्ला ने भारत सरकार से अपील की है कि ईरान में फंसे छात्रों की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए. उन्होंने इस्राइल और ईरान दोनों देशों से संयम बरतने और बातचीत से तनाव सुलझाने की अपील की. उन्होंने कहा कि इस कठिन समय में हम छात्रों और उनके परिवारों के साथ हैं.